अपने घर के छत पर Free Solar Rooftop Yojana के तहत फ्री में सोलर पैनल लगवाएं ! आज ही आवेदन करें !!

सोलर रूफटॉप योजना (Solar Rooftop Yojana)

देश और विदेश में बढ़ती बिजली की खपत/ डिमांड और तेजी से घटते प्राकृतिक खनिज पदार्थ कोयला को देखते हुए। आने वाले समय में सौर ऊर्जा का अधिकाधिक प्रयोग होने की संभावनाएं है। भारत में उच्च सौर आतपन सौर ऊर्जा को भारत के लिए एक आदर्श ऊर्जा स्रोत बनाता है।

अपने घर के छत पर Free में Solar Panels लगवाएं
Solar Rooftop Yojana

सौर ऊर्जा को बढ़ावा देने हेतु भारत सरकार द्वारा सोलर रूफटॉप योजना (Solar Rooftop Yojana) चलाई जा रही है। जिसका उद्देश्य बढ़ती बिजली महंगाई दर के मध्य नजर आम आदमी को आर्थिक रूप से सक्षम बनाना है। बिजली की बढ़ती डिमांड /खपत  के साथ इसकी लागत भी बढ़  रही है। अब आप सोलर रूफटॉप योजना (Solar Rooftop Yojana) के तहत फ्री में बिजली का भी लाभ उठा सकेंगे। केंद्र सरकार सोलर पैनल लगाने में आम लोगों को मदद करने के लिए तत्पर है। 

केंद्र सरकार द्वारा सोलर रूफटॉप सब्सिडी योजना (Solar Rooftop Subsidy Yojana) चलाई जा रही है। साथ में सौर ऊर्जा छत योजना भारत सरकार ने देश अक्षय ऊर्जा के इस्तेमाल को प्रोत्साहित कर रही है।  सरकार सोलर उपभोगताओं को सोलर रूफटॉप इंस्टालेशन पर लगभग 40% की सब्सिडी दे रही है। 

अपने घर की छत पर सौर पैनल (Solar Panel) लगाकर आप अपने घर की बिजली की लागत को लगभग 30% से 50% तक कम कर सकते हैं। सोलर रूफटॉप  से 25 वर्षो तक बिजली मिलेगी और 5 से 6 साल में  खर्च का भुगतान किया जाएगा। इसके बाद आप अगले 19  से 20 वर्षो तक सौर पैनल (Solar Panel) से फ्री बिजली का लाभ मिलता रहेगा।

आप सोलर रूफटॉप योजना (Solar Rooftop Yojana) के लिए ऑनलाइन आवेदन इस तरह कर सकते हैं

  • सबसे पहले official website https://solarrooftop.gov.in पर जाना होगा।

  • फिर Home Page पर Apply For Solar Roofing पर click करें।

  • Next Page पर अपना State सेलेक्ट करे , फिर आपको अपने फ़ोन /कंप्यूटर की स्क्रीन पर सौर पैनल (Solar Panel) रूफ एप्लीकेशन दिखाई देगी। अब सभी जरुरी विवरण यहाँ भरना होगा और पुनः Submit पर click करें।

👉आप सोलर रूफटॉप योजना (Solar Rooftop Scheme) के लिए किसी भी बिजली वितरण कंपनी के नजदीकी कार्यालय में संपर्क  सकते हैं। और अधिक जानकारी लिए आप https://mnre.gov.in/ पर जा सकते हैं।

👉For any information regarding Solar Rooftop Yojana Call on Toll Free Number - 1800-180-3333 or Visit the official website for details - https://solarrooftop.gov.in

 

भारत में सौर ऊर्जा - Solar Energy in India

भारत सौर ऊर्जा हेतु विभिन्न कार्यक्रमों का संचालन भारत सरकार के नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय द्वारा किया जाता है। वर्तमान समय में सौर ऊर्जा खर्चीली है और इस पर भारी निवेश की जरूरत पड़ती है। सौर ऊर्जा का स्‍वरूप अस्थिर है जिससे इसे ग्रिड में समायोजित करना मुश्किल होता है। लोगों की जागरुकता का अभाव, उच्‍च उत्‍पादन लागत तथा वर्तमान ऊर्जा को छोड़ने की सीमाएं एवं पारेषण (Limits and Transmission) नेटवर्क को देशभर में सौर ऊर्जा क्षमता के भरपूर दोहन की दि‍शा में मुख्‍य बाधा के रूप में माना गया है। 

जानिए भविष्य में सौर ऊर्जा का अधिकाधिक प्रयोग क्यों होगा
Solar Energy - Reduce Electricity Bill

हैंडबुक ऑन सोलर रेडिएशन ओवर इंडिया के अनुसार, भारत के अधिकांश भाग में एक वर्ष में 250-300 धूप निकलने वाले दिनों सहित प्रतिदिन प्रति वर्गमीटर 4-7 किलोवाट घंटे का सौर विकिरण प्राप्त होता है।  वहीं राजस्थान और गुजरात में प्राप्त सौर विकिरण उड़ीसा में प्राप्त विकिरण की अपेक्षा ज्यादा है। देश में 30-50 मेगावाट/ प्रतिवर्ग किलोमीटर छायारहित खुला क्षेत्र होने के बावजूद उपलब्‍ध क्षमता की तुलना में देश में सौर ऊर्जा का दोहन काफी कम है (जो 31-5-2014 की स्थिति के अनुसार 2647 मेगावाट है)। 

2014 में नरेंद्र मोदी ने सौर ऊर्जा की क्षमता बढ़ाने के लिए काफी प्रयास किए जिसके फलस्वरूप 2016 मकर संक्रांति/पोंगल तक भारत में सौर ऊर्जा की स्‍थापित क्षमता 5,000 मेगावाट का जादुई आंकड़ा पार कर गई।

2015 में हुए पेरिस जलवायु सम्मेलन में नरेंद्र मोदी ने भारत के नेतृत्व में 100 से भी अधिक "सूर्यपुत्र" देशों के संगठन इंटरनेशनल एजेंसी फॉर सोलर टेक्नोलॉजीज़ एंड एप्लीकेशन्स की भी घोषणा किया।

वर्तमान स्थिति

*14 जनवरी, 2016 तक की स्थिति के अनुसार ग्रिड से जुड़ी सौर ऊर्जा परियोजनाओं को चालू किये जाने की ताजा स्थिति का राज्‍यवार ब्‍यौरा नीचे निम्‍नलिखित है:

States/Union Territory          Schemes 

1. Andhra Pradesh         -         357.34

2. Arunachal Pradesh    -          0.265

3. Chhatisgarh                -         73.18

4. Gujarat                       -         1024.15

5. Haryana                     -         12.8

6.Jharkhand                    -         16

7.Karnataka                    -         104.22

8.Keral                            -         12.025

9.Madhya Pradesh          -         678.58

10.Maharashtra               -         378.7

11.Ordisa                         -         66.92

12.Punjab                        -         200.32

13.Rajasthan                    -         1264.35

14.Tamilnadu                   -         418.945

15.Telangana                    -         342.39

16.Tripura                         -         5

17.Uttar-Pradesh               -        140

18.Utarakhand                  -        5

19.West Bangal                 -       7.21

20.Andaman and Nicobar -       5.1

21.Delhi                            -       6.712

22.Lakshadweep               -       0.75

23.Puduchery                    -       0.025

24.Chandigarh                   -       5.041

25.Daman and Diu            -        4

26.Other                            -        0.79

                                    Total= 5129.813

भारतीय सौर मिशन (Indian Solar Mission)

जवाहरलाल नेहरू राष्ट्रीय सौर मिशन योजना की शुरुआत 2009 में जलवायु परिवर्तन पर राष्‍ट्रीय कार्य योजना के एक हिस्‍से के रूप में की गई। इस मिशन का लक्ष्य 2022 तक 20 हजार मेगावाट क्षमता वाली ग्रिड से जोड़ी जा सकने वाली सौर बिजली की स्‍थापना और 2 हजार मेगावाट के समतुल्‍य गैर-ग्रिड सौर संचालन के लिए नीतिगत कार्य योजना का विकास करना है। इसमें सौर तापीय तथा प्रकाशवोल्टीय दोनों तकनीकों के प्रयोग का अनुमोदन किया गया।

इस मिशन का उद्देश्‍य/लक्ष्‍य (Objective/Goal of This Mission):

(1) 2022 तक 20 हजार मेगावाटा क्षमता वाली-ग्रिड से जुड़ी सौर बिजली पैदा करना मिशन लक्ष्‍य,

(2) 2022 तक दो करोड़ सौर लाइट सहित 2 हजार मेगावाट क्षमता वाली गैर-ग्रिड सौर संचालन की स्‍थापना

(3) 2 करोड़ वर्गमीटर की सौर तापीय संग्राहक क्षेत्र की स्‍थापना

(4) देश में सौर उत्‍पादन की क्षमता बढ़ाने वाली का अनुकूल परिस्थितियों का निर्माण और

(5) 2022 तक ग्रिड समानता का लक्ष्‍य हासिल करने के लिए अनुसंधान और विकास के समर्थन और क्षमता विकास क्रियाओं का बढ़ावा शामिल है।

दूरवर्ती ग्राम विद्युतीकरण कार्यक्रम (Remote Rural Electrification Program)

इस कार्यक्रम के तहत उन गांवों एवं कस्बों में नवीकरणीय उर्जा के जरिए प्रकाशबिजली की व्यवस्था करनी है इस कार्यक्रम के तहत गांवों और कस्बों को 90 प्रतिशत केन्द्रीय वित्तीय सहायता दी जाती है। हालाँकि, इस कार्यक्रम में सौर ऊर्जा (Solar Energy) सहित अन्य नवीकरणीय ऊर्जा (Renewable Energy) जैसे लघु जलविद्युत योजना, पवनचक्कीं, बायोमास आदि भी शामिल हैं। दूरवर्ती ग्राम विद्युतीकरण कार्यक्रम के अंतर्गत 2011-12 से 2013-14 के दौरान विभिन्‍न राज्यों 819 गाँवों में सौर ऊर्जा के लिए स्वीकृति दी गई।

प्रमुख परियोजनाएँ (Major Projects)

राजस्थान में जयपुर के पास सांभर में हिंदुस्तान सॉल्ट्स लिमिटेड की खाली पड़ी जमीन पर 4,000 मेगावाट क्षमता की एक परियोजना 2014 से लगाई जाएगी। इसे सरकारी क्षेत्र की छह प्रमुख कंपनियां- भेल, पावरग्रिड, सोलर एनर्जी कॉरपोरेशन, सतलुज जल विद्युत निगम, हिंदुस्तान साल्ट्स और राजस्थान इलेक्ट्रॉनिक्स मिलकर लगाएंगी। इसके लिए समझौता ज्ञापन (MOU) पर हस्ताक्षर किए गए हैं। इस प्रोजेक्ट के बाद ऐसी अन्य सोलर पावर परियोजनाएँ लगाने का काम भी जल्द शुरू होगा। परियोजना के पहले चरण में एक हजार मेगावाट बिजली का उत्पादन किया जाएगा, जो वर्ष 2017 तक शुरू हो जाएगा। शेष 3,000 मेगावाट क्षमता का विस्तार दूसरे चरण में किया जाएगा। इसमें अतिरिक्त तीन वर्ष का समय लगेगा।

बढ़ावा देने के लिए उठाए गए कदम (Steps Taken to Promote)

जवाहरलाल नेहरू राष्‍ट्रीय सौर ऊर्जा मि‍शन की ऑफ ग्रिड तथा विकेंद्रीकृत सौर ऊर्जा के अंतर्गत, मंत्रालय 27 रुपये प्रति डब्‍ल्‍यूपी से 135 रुपये प्रति डब्‍ल्‍यूपी के बीच सौर ऊर्जा पीवी प्रणाली तथा विद्युत संयंत्रों की स्‍थापना के लिए 30 प्रति‍शत पूंजीगत सब्सिडी प्रदान करता है। विशेष श्रेणी के राज्‍यों अर्थात् पूर्वोत्‍तर राज्‍यों, सिक्किम, जम्‍मू और कश्‍मीर, हिमाचल प्रदेश और उत्‍तराखंड, लक्षदीप और अंडमान निकोबार द्वीप के लिए मंत्रालय सरकारी संगठनों (वाणिज्‍य संगठनों और कारपोरेशनों के लिए नहीं) हेतु 81 रुपये प्रति डब्‍ल्‍यूपी से 405 रुपये प्रति डब्‍ल्‍यूपी के बीच 90 प्रतशित पूंजीगत सब्सिडी प्रदान करता है। नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय, सौर जल तापक प्रणाली, सौर लालटेन, घरों और सड़कों की लाइटें तथा पीवी पॉवर प्‍लांटो जैसे सौर फोटो वोल्‍टेइक प्रणालियों के लिए 30 प्रतिशत तक की केन्‍द्रीय वित्‍तीय सहायता (CFA) उपलब्‍ध करवा रहा है। यह सीएफए पूरे देश के लिए एक समान है, लेकिन विशेष श्रेणी के राज्‍यों/केन्‍द्र शासित प्रदेश द्वीपों और अंतर्राष्‍ट्रीय सीमा से लगे जिलों में सौर जल तापक प्रणाली के लिए सीएफए 60 प्रतिशत तक और कुछ श्रेणियों की सरकारी संस्‍थानों के लिए सौर फोटो वोल्‍टेइक प्रणालियों के लिए यह 90 प्रतिशत तक है।

*Source : Wikipedia

राष्‍ट्रीय सौर ऊर्जा संस्‍थान (National Solar Energy Organisation)

नवीन और नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय ने सौर विद्युत प्रौद्योगिकियों में अनुसंधान, विकास और परीक्षण करने के लिए राष्‍ट्रीय सौर ऊर्जा संस्‍थान (नाइस) की स्‍थापना की है।

  • बिट्टा सौर ऊर्जा संयंत्र (Bitta Solar Power Plant) 40 मेगावाट क्षमता का सौर ऊर्जा संयन्त्र है जो गुजरात के बिट्टा गाँव में स्थित है। इसकी स्थापना 2012 के आरम्भ में हुई थी।
  • कामुती सौर ऊर्जा परियोजना तमिलनाडु के कामुती में कार्यरत विश्व की सबसे बड़ी सौर ऊर्जा परियोजना है। इसका निर्माण अडाणी पॉवर ने किया है।
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Neel Kamal
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